Last Updated On September 10, 2022
PM YASASVI Scholarship Scheme 2022
जिन छात्रों के माता-पिता / अभिभावकों की वार्षिक आय 2.5 लाख रुपये से अधिक नहीं है, वे प्रधानमंत्री यशस्वी छात्रवृत्ति कार्यक्रम के लिए आवेदन करने के पात्र हैं।PM Yasasvi Yojana
YASASVI Scholarship Scheme के लिए आवेदन पात्रता
जिन छात्रों के माता-पिता / अभिभावकों की वार्षिक आय 2.5 लाख रुपये से अधिक नहीं है, वे YASASVI छात्रवृत्ति कार्यक्रम के लिए आवेदन करने के पात्र हैं। छात्रवृत्ति दो स्तरों पर प्रदान की जाती है- जो छात्र कक्षा नौवीं में पंजीकृत हैं और जो कक्षा 11वीं में पंजीकृत है। उम्मीदवारों को लिखित परीक्षा के आधार पर YASASVI छात्रवृत्ति योजना के लिए शॉर्टलिस्ट किया जाएगा, जो 25 सितंबर, 2022 को होने वाली है। परीक्षा कंप्यूटर आधारित परीक्षा (सीबीटी) मोड में ऑनलाइन आयोजित की जाएगी। YASASVI प्रवेश परीक्षा की अवधि तीन घंटे यानी 180 मिनट की होगी।
YASASVI Entrance Test 2022 की महत्वपूर्ण तिथियां
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यशस्वी स्कॉलरशिप प्रवेश परीक्षा फॉर्म जमा करने की अंतिम तिथि : 11 सितंबर, 2022 को शाम 05 बजे तक
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यशस्वी स्कॉलरशिप प्रवेश परीक्षा 2022 फॉर्म सुधार तिथि : 12 सितंबर से 14 सितंबर, 2022
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यशस्वी स्कॉलरशिप प्रवेश परीक्षा 2022 की तिथि : 25 सितंबर, 2022
देश के बच्चों के भविष्य को सवारने के लिए PM यशस्वी स्कॉलरशिप योजना को लागू किया गया है| इस योजना के माध्यम से 9 से 11 वीं कक्षा मे पढ रहे छात्रो को स्कॉलरशिप प्रदान की जाती है| जिसका लाभ पात्र छात्र ऑनलाइन आवेदन करके और निर्धारित तिथि से पहले प्राप्त कर सकते हैं| तो आइए जानते हैं क्या है ये योजना और इसके अंतर्गत आवेदन कैसे किया जाता है| PM Yasasvi Yojana
PM Yasasvi Schemes 2022
प्रधानमंत्री यशस्वी छात्रवृत्ति योजना भारत सरकार और राज्य सरकारों द्वारा मिलकर पूरे देश के गरीब परिवारों से संबंध रखने वाले विद्यार्थियों के हितो को ध्यान में रखकर चलाई गई है| जिसके अंतर्गत 9 से 11 वीं कक्षा मे पढ रहे बच्चों को उच्च शिक्षा प्राप्त करने के लिए छात्रवृत्ति प्रदान की जाती है| इस योजना के अंतर्गत 85 लाख स्टूडेंट्स को लाभान्वित करने का लक्ष्य निर्धारित किया गया है। इस योजना से अनुसूचित जाति/जनजाति (SC/ST), अन्य पिछड़ा वर्ग (OBC) और गरीब वर्ग (EWS) के छात्रों को पढ़ाई करने में सहायता प्राप्त होगी |
यशस्वी स्कॉलरशिप योजना को शुरू करने का उद्देश्य
- इससे पहले केंद्र और राज्य सरकारे अलग – अलग योजनाओं और नियमों के तहत स्कालरशिप देती आ रही है| परन्तु राज्य सरकारों की योजनाओं का ज्यादा लाभ छात्रों तक नहीं पहुँच पाया है |
- अभी तक मैट्रिक के बाद मिलने वाली छात्रवृत्ति (Scholarship) में वर्ष 1944 के बाद से कोई बड़ी पहल नहीं हुई है, इस कारण मौजूदा समय को अनुकूल बनाने की आवश्यकता लग रही है |
- इस स्थिति को देखते हुए केंद्र सरकार ने PM यशस्वी की शुरुआत की है| जिसके माध्यम से वंचित तबके के छात्र – छात्राओं के लिए स्कॉलरशिप स्कीम (छात्रवृत्ति योजना) को एकीकृत करने और उसे पूर्ण रूप से सुचारू बनाने का निर्णय लिया गया है | PM Yasasvi Yojana
यशस्वी स्कॉलरशिप योजना के अंतर्गत मिलने वाली आर्थिक सहायता
- प्रत्येक वर्ष जून-जुलाई महीने में PM यशस्वी स्कॉलरशिप प्राप्त करने हेतु मेरिट टेस्ट का आयोजन किया जायेगा |
- इस योजना के तहत कक्षा 9 वीं के छात्रों को प्रति वर्ष 75,000 रुपये की आर्थिक सहायता मिलेगी।
- 11वीं कक्षा के छात्रों को सालाना 125,000 रुपये प्रदान किए जाएंगे|
- ये राशि छात्रों के बैंक अकाउंट में सीधे भेजी जाएगी|
यशस्वी छात्रवृत्ति की आवंटन राशि
योजना के तहत राज्यों को केवल 40% ही योगदान करना होगा | इसके अलावा 60 फीसदी फंड की व्यवस्था केंद्र सरकार द्वारा की जाएगी |
PM यशस्वी छात्रवृत्ति योजना का कुल बजट
मौजूदा वर्ष में इस योजना के लिए 6000 करोड़ रुपये का आवंटन पहले किया जा चुका था, परन्तु अब इसे बढ़ाकर 7200 करोड़ रुपये कर दिया गया है | PM Yasasvi Yojana
यशस्वी योजना की निगरानी
वरिष्ठ नागरिक यानी सीनियर सिटीजन दवारा इस योजना की निगरानी की जाएगी| जिसके लिए सरकार इस संबंध में एक्शन प्लान तैयार करेगी और प्रशिक्षण कार्यक्रमों का आयोजन भी करेगी। इसके अलावा सीनियर सिटीजन छात्रों को PM यशस्वी छात्रवृत्ति योजना का लाभ लेने के लिए प्रशिक्षित भी किया जाएगा|
आवश्यक दस्तावेज
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- आधार कार्ड
- आय प्रमाण पत्र
- स्थायी प्रमाण पत्र
- जाति प्रमाण पत्र
- शैक्षिक योग्यता दस्तावेज
- बैंक खाता
- मोबाइल नंबर
- पासपोर्ट साइज
PM यशस्वी योजना की मुख्य विशेषताएँ
- गरीब वर्ग के छात्रो को शिक्षा के लिए प्रोत्साहित करना
- पात्र छात्रो को स्कॉलरशिप प्रदान करना
- बच्चों को शिक्षित करना
- प्राणाली मे पारदर्शिता लाना
- शिक्षा से वन्चित छात्र-छात्राओं को पढाई के प्रति जागरुक करना|
- पात्र लाभार्थीयों को आत्म-निर्भर व सशक्त वनाना|